बाल गीत - बोधन राम निषादराज
बाल गीत - बोधन राम निषादराज
विषय - तितली
तितली रानी तितली रानी।
सुग्घर चाल चलन औ बानी।।
किसम-किसम के पाँख लगे हे।
मन मा आशा मोर जगे हे।।
आबे अँगना फूल खवाहूँ।
तोर संग मा मँय उड़ जाहूँ।।
दुनिया ला मोला देखाबे।
मोर सहेली तँय बन जाबे।।
तितली रानी तितली रानी।
तँय तो हावस बने सियानी।।
रचनाकार:-
बोधन राम निषादराज"विनायक"
सहसपुर लोहारा,जिला-कबीरधाम(छ.ग.)
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